Low Import Duty: सरकार की तरफ से इलेक्ट्रिक व्हीकल पर इम्पोर्ट ड्यूटी 100 प्रतिशत से घटाकर 15 प्रतिशत करने की तैयारी की जा रही है. नई इम्पोर्ट पॉलिसी लागू होने के बाद देश के ईवी मार्केट में टेस्ला कार की एंट्री आसान हो जाएगी.
New Electric Vehicle Policy: देश की सड़कों पर अगले कुछ सालों में टेस्ला की कारें फर्राटा भरते दिखाई दें तो चौंकिएगा मत. जी हां, सरकार की प्लानिंग पर यदि लग्जरी कार निर्माता कंपनियों ने सहमति जताई तो यह जल्द हकीकत में बदलने वाला है. केंद्र की मोदी सरकार इलेक्ट्रिक व्हीकल को बढ़ावा देने पर लगातार काम कर रही है. इसी के मद्देनजर सरकार तकनीकी रूप से उन्नत जैसे टेस्ला, बीएमडब्ल्यू और ऑडी आदि कार निर्माता कंपनियों के लिए पॉलिसी बनाने का प्लान कर रही है. इसके तहत स्थानीय स्तर पर मैन्युफैक्चरिंग के साथ ही इम्पोर्ट ड्यूटी में कमी करना शामिल है.
इलेक्ट्रिक कारों की कीमत में गिरावट आएगी
टाइम्स ऑफ इंडिया में प्रकाशित खबर के अनुसार सरकार ग्रीन कारों के इम्पोर्ट पर लगने वाले शुल्क को 100% से घटाकर 15% करने की तैयारी कर रही है. इम्पोर्ट ड्यूटी में कमी आने से इलेक्ट्रिक कारों की कीमत में गिरावट आएगी और देश में महंगी कारों की बिक्री को बढ़ावा मिलेगा. एलन मस्क की टेस्ला ने 2021 में पहली बार भारतीय अधिकारियों से इलेक्ट्रिक व्हीकल के लिए 100 प्रतिशत का आयात शुल्क खत्म करने की बात कहकर भारत में एंट्री करने की कोशिश की थी. अब सरकार की तरफ से जब 15 प्रतिशत इम्पोर्ट ड्यूटी लगाने का प्लान किया जा रहा है तो 100 टके में 85 की छूट देने की तैयारी है.
सरकार रख सकती है यह शर्त
इम्पोर्ट ड्यूटी में भारी-भरकम छूट देने की तैयारी के साथ ही सरकार की शर्त रहेगी कि कार निर्माताओं को देश में जल्द से जल्द व्हीकल मैन्युफैक्चरिंग शुरू करनी होगी और लोकल मार्केट से भी पार्ट लेने होंगे. किसी भी कमिटमेंट के पूरा नहीं होने की स्थिति में कंपनियों को बैंक गारंटी भी देनी होगी. एक सूत्र ने यह भी दावा किया कि सरकार कंपनियों से सप्लायर्स के लिए एक इकोसिस्टम डेवलप करने की भी गारंटी लेगी. इसके तहत शुरुआती दो साल में करीब 20 प्रतिशत पार्ट देश के अंदर से ही लिया जाएगा. चौथे साल तक इसे बढ़ाकर 40 प्रतिशत तक किया जाएगा.
एंट्री लेवल कार की कीमत 20 लाख रुपये!
टीओआई के अनुसार सरकारी सूत्रों ने कहा कि नई पॉलिसी घरेलू और ग्लोबल निर्माताओं के लिए फायदेमंद रहेगी. इम्पोर्ट ड्यूटी में कमी आने से इलेक्ट्रिक कारों के लिए बड़ा निवेश करने वाली टाटा मोटर्स और महिंद्रा एंड महिंद्रा को भी फायदा होगा. इम्पोर्ट ड्यूटी में कमी का फायदा टेस्ला, बीएमडब्ल्यू और ऑडी जैसे लग्जरी कार निर्माताओं को भी मिलेगा. उम्मीद की जा रही है कि टेस्ला सरकार की प्लानिंग पर तैयार हो जाएगी. टेस्ला की तरफ से पहले ही भारत में पांच लाख वाहनों की सालाना मैन्युफैक्चरिंग करने वाले प्लांट को स्थापित करने का इशारा दिया जा चुका है. टेस्ला की एंट्री लेवल कार की कीमत करीब 20 लाख रुपये तक हो सकती है.
क्या है इम्पोर्ट ड्यूटी का गणित
सरकार की तरफ से जिस नीति पर विचार किया जा रहा है उसके तहत कम से कम 15 प्रतिशत टैक्स पर पूरी तरह निर्मित ईवी का आयात करने की अनुमति दी जाने की उम्मीद है. अभी सरकार 40,000 अमेरिकी डॉलर से ज्यादा की कार पर 100 प्रतिशत इम्पोर्ट ड्यूटी लगाती है. बाकी के लिए इम्पोर्ट ड्यूटी 70 प्रतिशत है. आपको बता दें टेस्ला का सबसे ज्यादा बिकने वाला मॉडल Y की बिना टैक्स के अमेरिका में बिक्री 47,740 डॉलर से शुरू होती है. इम्पोर्ट ड्यूटी के कम होने से टेस्ला की कारें भी सस्ती हो जाएंगी.
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